सावधान: घरेलु कामों के लिए सिंक का पानी हो सकता है बिमारियों का कारण

सावधान: घरेलु कामों के लिए सिंक का पानी हो सकता है बिमारियों का कारण

सेहतराग टीम

रोजमर्रा में उपयोग किया जाना वाला पानी आर्सेनिक, नाइट्रेट और फ्लोराइड से प्रदूषित हो जाता है, जिससे स्वास्थ्य को लिए गंभीर खतरे हो सकते हैं। आज हमारे देश के कई शहरों में पानी की गुणवत्ता की चिंताजनक स्थिति है। ऐसे में देश के कई क्षेत्रों में भूजल (जमीन से निकलने वाला पानी) के आर्सेनिक प्रदूषण से गुजर रहे हैं, यानि उनमें विषैलापन काफी बढ़ गया है। इसके अलावा, पानी में नाइट्रेट और फ्लोराइड प्रदूषण को भी काफी उच्च स्तरों पर दर्ज किया गया है।

पानी के स्‍वाद से उसकी शुद्धता की पहचान करें:

दैनिक उपयोग के लिए पानी में प्रदूषित तत्वों की तलाश करने और उनसे बचने के कई विकल्‍प हैं। इसके अलावा, लोगों को यह सुनिश्चित करने की आवश्यकता है कि वह जिस पानी और नल का उपयोग करते हैं, वह पानी और नल दोनों ही गंध या अजीब स्वाद से रहित होने चाहिए। यदि नल का पानी ब्रश करते समय किसी धातु का स्वाद देता है, या छिछला हो जाता है, तो यह असुरक्षित प्रदूषित तत्वों की मौजूदगी का संकेत है।

इसके अलावा, लोगों को जागरूक होना चाहिए और यह समझने की जरूरत है कि माइक्रोबियल और आर्गेनिक प्रदूषकों (कंटेम्नेंट्स) को हमेशा ह्यूमन सेंसर्स से मापा नहीं जा सकता है। इसके साथ ही नाइट्रेट और फ्लोराइड जैसे जल प्रदूषकों से भी स्वास्थ्य पर प्रभाव पड़ते हैं। जबकि आर्सेनिक कार्सिनोजेनिक है, उच्च नाइट्रेट स्तर मेटहेमोग्लोबिनमिया या “ब्लू बेब” बीमारी का कारण बनता है।

सिंक बैक्‍टीरिया से रहें सावधान: 

आप में से कई लोग भले ही एडवांस्ड वाटर प्यूरीफायर का उपयोग करते हैं, जो कि शुद्ध पानी पीने के लिए आवश्यक है। लेकिन वे वॉशबेसिन और किचन सिंक के माध्यम से मिलने वाले पानी की गुणवत्ता को अनदेखा नहीं किया जा सकता है। क्‍योंकि यह आपके स्‍वास्‍थ्‍य के लिए नुकसानदाय‍क हो सकते हैं।

बरतें कुछ जरूरी सावधानियां:

  • हमारे घरों के ओवरहेड टैंक में पानी वायरस और बैक्टीरिया के लिए प्रजनन का मुख्य आधार हैं। इसलिए समय-समय पर उनकी सफाई करना जरूरी है और वाटर टैंक में पानी को साफ करने के लिए क्‍लोरिन का उपयोग करें।
  • इसके अलावा, आप दैनिक उपयोग जैसे, ब्रश करना, सब्जियां धोना ये सब भी आपके स्वास्थ्य पर भारी पड़ सकते हैं। क्‍योंकि सिंक वाटर बैक्टिीरिया आपकी रोगों से लड़ने वाली प्रतिरक्षा स्तर को कमजोर करते हैं, जो कि आपको दिन-प्रतिदिन प्रभावित कर रहा है। इसलिए कोशिश करें कि कुल्‍ला करने या सब्‍जी धोने के लिए भी साफ पानी का इस्‍तेमाल करें।
  • गंदे पानी कीह वजह से आम सर्दी, वायरल संक्रमण, इन्फ्लूएंजा, निमोनिया, मलेरिया, डेंगू, डायरिया, गैस्ट्रोएंटेराइटिस, टाइफाइड और हेपेटाइटिस या पीलिया जैसी आम बीमारियां हो सकती हैं। इन सभी बीमारियों का कारण ज्यादातर दूषित पानी ही होता है। इसलिए आप कोशिश करें कि वाटर प्यूरीफायर का उपयोग करें।
  • इसके अलावा, आपको अपने सिंक के पानी की शुद्धि के लिए उपकरणों को स्थापित करने और जलजनित रोगों से सुरक्षा सुनिश्चित करने की आवश्यकता है। ऐसे उपकरणों को एक बाथरूम सिंक, रसोई सिंक और वॉशबेसिन में स्थापित किया जाना चाहिए ताकि माइक्रोस्कोपिक कंटेमीनेंट्स फंस सकें और हानिकारक बैक्टीरिया को बाहर निकाल सकें।

पानी के बैक्‍टीरिया से बचने के लिए हर व्यक्ति को अपने और अपने परिवार के सदस्यों की अच्छी देखभाल करने की आवश्यकता है और बुनियादी सावधानियों का पालन करना चाहिए। विशेष रूप से उस पानी के साथ जो वे रोजाना पी रहे हैं, सिंक या वॉशबेसिन से पानी का उपयोग कर रहे हैं। ऐसे में उस पानी को भी परिवार के सुरक्षा के लिए सुरक्षित और साफ बनाए। कोई फर्क नहीं पड़ता कि सरकार अपने नागरिक को स्वच्छ पानी उपलब्ध कराने के लिए क्या कदम उठा रही है, हमें खुद भी घर में पानी को शुद्ध करने के लिए सतर्क रहना होगा।

(साभार- दैनिक जागरण)

 

इसे भी पढ़ें-

सेहतमंद बनाने के संग कुछ खास बीमारियां भी देते हैं पहाड़

इन घरेलू और प्राकृतिक नुस्खों से अपने फेफड़ों को प्रदूषण से बचाएं

डायबिटीज के मरीज कुछ ऐसे रखें अपने पैरों का ध्यान

Disclaimer: sehatraag.com पर दी गई हर जानकारी सिर्फ पाठकों के ज्ञानवर्धन के लिए है। किसी भी बीमारी या स्वास्थ्य संबंधी समस्या के इलाज के लिए कृपया अपने डॉक्टर की सलाह पर ही भरोसा करें। sehatraag.com पर प्रकाशित किसी आलेख के अाधार पर अपना इलाज खुद करने पर किसी भी नुकसान की जिम्मेदारी संबंधित व्यक्ति की ही होगी।